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चक्र- अ – पास्का इतवार - दिन का मिस्सा

प्रेरित-चरित 10: 34,37-43; कलोसियों 3:1-4; योहन 20: 1-9

ब्रदर अतिस भुमिज मुंडा (आई.एम.एस)


आज पूरी कलीसिया बडी खुशी और आनंद के साथ पास्का पर्व मना रही है। आज के दिन प्रभु येसु मृतकों में से जी उठे थे। मौत उन्हें अपने वश में नहीं कर पाई। उन्होंने मौत को हराकर हमें आनंद जीवन दिलाया। इसलिए हम येसु के उस पुनरुत्थान को और हमारे मुक्ति को मना रहे हैं।

प्रभु येसु हमें बचाने को इस संसार में आए। उन्होंने हमारे पापों, गुनाहों और रोगों को अपने ऊपर ले कर हमें पापों की क्षमा दिलाई है। उन्होंने अपने लहू से हमारे पापों को, हमारे आंसुओं को धोकर हमें शुद्ध किया है। उन्होंने अपनी मृत्यु तथा पुनरुत्थान के द्वारा हमें नया जीवन दिया है। हम अपने पापों के कारण मर गए थे आज के इस दिन प्रभु के साथ-साथ हम भी जी उठे हैं।

येसु का पुनरुत्थान अर्थात पास्का पर्व कलीसिया के विश्वास का आधार है, इसलिए यह वर्ष का सबसे बड़ा और महत्वपूर्ण पर्व है। आज अंधकार पर प्रकाश, असत्य पर सत्य, अन्याय पर न्याय तथा निराशा पर आशा की विजय हुई है। प्रभु येसु अपने पुनरुत्थान के द्वारा हमें बताना चाहते हैं कि मृत्यु जीवन का अंत नहीं है बल्कि जीवन का विकास है। इस जीवन के बाद भी एक दूसरा जीवन है जो आनंदमय और जिसका कभी अंत नहीं है। आज के दूसरे पाठ में हम सुनते हैं कि संत पौलुस कलोसियो के निवासियों को समझाते हुए कहते हैं कि यदि आप लोग मसीह के साथ जी उठे हैं जो ईश्वर के दाहिने विराजमान हैं, तो ऊपर की चीजें खोजते रहे; आप पृथ्वी पर की नहीं ऊपर की चीजों की चिंता करें। आप तो मर चुके हैं आपका जीवन मसीह के साथ ईश्वर में छुपा हुआ है। मसीह ही आपका जीवन है। हम अपने जीवन में कभी-कभी दुनिया की मोह-माया में खो जाते हैं और सांसारिक सुख को प्राप्त करने के लिए रोज दिन कड़ी मेहनत करते हैं। इस प्रकार हम अपनी सुख-शांति खो देते हैं। हम भूल जाते हैं कि इस संसार में हम यात्री हैं। इस संसार से हमारा रिश्ता कुछ पलों का है। हमें संसार के लिए परिश्रम करने की जरूरत नहीं है क्योंकि ईश्वर का वचन कहता हैं, (1पेत्रुस 5:7) “अपनी सारी चिन्ता उसी पर डाल दो, क्योंकि उसको तुम्हारा ध्यान है”। हमें चाहिए कि हम प्रभु पर भरोसा करें और अपनी सारी चिंताएं प्रभु को समर्पित कर दें क्योंकि प्रभु में ही हमारा कल्याण तथा उद्धार है।

पास्का का दूसरा भाग है प्रभु येसु के पुनरुत्थान की घोषणा करना। अगर हम इस पुनरुत्थान की घोषणा ना करें तो पास्का अधूरा रह जाता है। हम मत्ती रचित सुसमाचार में पाते हैं कि श्वेत वस्त्र पहने एक स्वर दूत कब्र के अंदर बैठा हुआ था। उसने मरियम मगदलेना से कहा “डरिए नहीं। आप जिसको ढूंढ रही हैं जो क्रूस पर चढ़ाए गए थे, वह जीवत है, वह यहाँ नहीं है। जाकर उनके शिष्यों और पेत्रुस से कहिए कि वह आप लोगों से पहले गलीलिया जाएंगे। पास्का पर्व हमें प्रभु य्सु के पुनरुत्थान की घोषणा करने के लिए, उसके वचनों को दूसरों तक पहुंचाने के लिए तथा उसके मुक्ति-विधान की घोषणा करने के लिए बुलाता है, ताकि संसार के सभी प्राणियों को वह मुक्ति और अनंत जीवन प्राप्त हो जिसके लिए प्रभु येसु हमारे बीच आए थे। इस संबंध में योहन 3:16 में पवित्र वचन कहता है। “ईश्वर ने जगत से ऐसा प्रेम रखा कि उसने अपना एकलौता पुत्र दे दिया ताकि जो कोई उस पर विश्वास करे उसका सर्वनाश न हो, परन्तु अनन्त जीवन पाए।”

पास्का पिता ईश्वर के उस प्रेम, दया और कृपा की निशानी है जिसे उसने हम पर बरसाई है। आइए हम इस प्रेम को दूसरों तक बाटे अपने आप कार्यों द्वारा, अपने दृढ़ विश्वास के द्वारा, ताकि सबको अनंद जीवन प्राप्त हो सके, सबको पापों की क्षमा मिल सके, सब प्रभु को पहचाने जिन्होंने सबों के उद्धार के लिए अपने को क्रूस पर अर्पित कर दिया।